आईपीसी धारा 395 क्या है
भारतीय दंड संहिता में “डकैती करना ” एक अपराध माना गया है और डकैती के लिए दण्ड का प्रावधान (IPC) की धारा 395 में किया गया है | यहाँ हम आपको ये बताने का प्रयास करेंगे कि भारतीय दंड सहिता (IPC) की धारा 395 किस तरह अप्लाई होगी | भारतीय दंड संहिता यानि कि IPC की धारा 395 क्या है ? इसके सभी पहलुओं के बारे में विस्तार से यहाँ समझने का प्रयास करेंगे | आशा है हमारी टीम द्वारा किया गया प्रयास आपको पसंद आ रहा होगा |
(IPC Section 395) डकैती के लिए दण्ड
इस पेज पर भारतीय दंड सहिता की धारा 395 में “डकैती के लिए दण्ड” के बारे में क्या प्रावधान बताये गए हैं, और इसमें कितनी सजा देने की बात कही गई है? इनके बारे में पूर्ण रूप से इस धारा में चर्चा की गई है | साथ ही भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 395 में जमानत के बारे में क्या बताया गया है ? इसको भी यहाँ जानेंगे, साथ ही इस पोर्टल www.nocriminals.org पर अन्य महत्वपूर्ण धाराओं के बारे में विस्तार से बताया गया है आप उन आर्टिकल के माध्यम से अन्य धाराओं के बारे में भी विस्तार से जानकारी ले सकते हैं |
IPC (भारतीय दंड संहिता की धारा ) की धारा 395 के अनुसार :-
डकैती के लिए दण्ड–
“जो कोई डकैती करेगा, वह ‘[आजीवन कारावास से, या कठिन कारावास से, जिसकी अवधि दस वर्ष तक की हो सकेगी, दण्डित किया जाएगा और जुर्माने से भी दण्डनीय होगा |
According to Section. 395 – “Punishment for dacoity”–
“Punishment for dacoity.—Whoever commits dacoity shall be punished with 1[imprisonment for life], or with rigorous imprisonment for a term which may extend to ten years, and shall also be liable to fine”.
लागू अपराध (IPC Section 395)
डकैती करना
सजा – आजीवन कारावास या 10 वर्ष का कठिन कारावास + आर्थिक दण्ड।
यह एक गैर-जमानती, संज्ञेय अपराध है और सत्र न्यायालय (सेशन कोर्ट) द्वारा विचारणीय है।
यह अपराध समझौता करने योग्य नहीं है।
आईपीसी की धारा 395 में सजा (Punishment) क्या होगी
डकैती करना अपराध माना गया है , डकैती के लिए दंड का निर्धारण भारतीय दंड संहिता में धारा 395 के तहत किया गया है | यहाँ भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 395 में डकैती करने पर आजीवन कारावास या 10 वर्ष का कठिन कारावास + आर्थिक दण्ड दिया जायेगा ।
आईपीसी (IPC) की धारा 395 में जमानत (BAIL) का प्रावधान
भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 395 में जिस अपराध की सजा के बारे में बताया गया है उस अपराध को एक गैर-जमानती और संज्ञेय अपराध बताया गया है | यहाँ आपको मालूम होना चाहिए कि गैर – जमानतीय अपराध होने पर इसमें जमानत मिलने में मुश्किल आती है क्योकि इसको CrPC में संज्ञेय श्रेणी का गैर- जमानतीय अपराध में बताया गया है |
आपको आज भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 395 के बारे में जानकारी हो गई होगी | इसमें क्या अपराध बनता है, कैसे इस धारा को लागू किया जायेगा | इस अपराध को कारित करने पर क्या सजा होगी ? इन सब के बारे में विस्तार से हमने उल्लेख किया है, साथ ही इसमें जमानत के क्या प्रावधान होंगे ? यदि फिर भी इस धारा से सम्बन्धित या अन्य धाराओं से सम्बंधित किसी भी प्रकार की कुछ भी शंका आपके मन में हो या अन्य कोई जानकारी प्राप्त करना चाहते है, तो आप हमें कमेंट बॉक्स के माध्यम से अपने प्रश्न और सुझाव हमें भेज सकते है |
अपराध | सजा | संज्ञेय | जमानत | विचारणीय |
डकैती | आजीवन कारावास या 10 साल कठोर कारावास + जुर्माना | संज्ञेय | गैर – जमानतीय | सत्र न्यायालय (सेशन कोर्ट) द्वारा विचारणीय (ट्रायल किया जा सकता) |