आईपीसी धारा 328 क्या है
दोस्तों आज हम आपके लिए भारतीय दंड संहिता की उस धारा के बारे में जानकारी लेकर इस पेज पर आये हैं जिसमे अपराध कुछ इस प्रकार का है, जिसमे “अपराध करने के आशय से विष इत्यादि द्वारा किसी व्यक्ति को नुकसान पहुँचाना” इसको IPC में अपराध माना गया है | आज यहाँ इस पेज पर इसी धारा के बारे में चर्चा करेंगे | इसको भारतीय दंड सहिता (IPC) में धारा 328 में परिभाषित किया गया है | आज आपको हम यहाँ इस आर्टिकल में यही बताएंगे कि इस अपराध के होने पर IPC की धारा 328 किस तरह अप्लाई होगी | यहाँ हम आपको भारतीय दंड संहिता यानि कि IPC की धारा 328 क्या है ? इसके बारे में विस्तार से यहाँ बताने का प्रयास करेंगे |
लॉ के स्टूडेंट को उन लोगो को जो लॉ की जानकारी लेना चाहते हैं उनके लिए यह लॉ पोर्टल डिज़ाइन किया गया है | इसके माध्यम से आज यहाँ धारा 328 में सजा के बारे में क्या प्रावधान बताये गए हैं, और इसमें कितनी सजा देने की बात कही गई है इन सभी प्रकार के टॉपिकों के बारे में पूर्ण रूप से बात होगी | साथ ही भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 328 में जमानत के बारे में क्या बताया गया है ? सभी बातों को आज हम विस्तृत रूप से यहाँ जानेंगे, साथ ही इस पोर्टल www.nocriminals.org पर अन्य महत्वपूर्ण धाराओं के बारे में विस्तार से बताया गया है आप उन आर्टिकल के माध्यम से अन्य धाराओं के बारे में भी विस्तार से जानकारी प्राप्त कर सकते हैं |
IPC (भारतीय दंड संहिता की धारा ) की धारा 328 के अनुसार :-
अपराध करने के आशय से विष इत्यादि द्वारा उपहति कारित करना-
“अपराध करने के आशय से विष इत्यादि द्वारा उपहति कारित करना-जो कोई इस आशय से कि किसी व्यक्ति को उपहति कारित की जाए या अपराध करने के, या किए जाने को सुकर बनाने के आशय से, या यह सम्भाव्य जानते हुए कि वह तद्वारा उपहति कारित करेगा, कोई विष या जडिमाकारी, नशा करने वाली या अस्वास्थ्यकर ओषधि या अन्य चीज उस व्यक्ति को देगा या उसके द्वारा लिया जाना कारित करेगा, वह दोनों में से किसी भांति के कारावास से, जिसकी अवधि दस वर्ष तक की हो सकेगी, दण्डित किया जाएगा और जुर्माने से भी दण्डनीय होगा “।
S. 328 – “Causing hurt by means of poison, etc., with intent to commit an offence”–
“Whoever administers to or causes to be taken by any person any poison or any stupefying, intoxicating or unwholesome drug, or other thing with intent to cause hurt to such person, or with intent to commit or to facilitate the commission of an offence or knowing it to be likely that he will thereby cause hurt, shall be punished with imprisonment of either description for a term which may extend to ten years, and shall also be liable to fine”.
लागू अपराध
अपराध करने के आशय से विष इत्यादि द्वारा क्षति कारित करना ।
सजा – 10 वर्ष का कारावास साथ में आर्थिक दण्ड भी दिया जायेगा।
यह एक गैर–जमानती, संज्ञेय अपराध है और सत्र न्यायालय {सेशन कोर्ट} द्वारा विचारणीय है।
यह अपराध समझौता करने योग्य नहीं है।
आईपीसी की धारा 328 में सजा (Punishment) क्या होगी
यहाँ भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 328 में किये गए अपराध के लिए सजा को निर्धारित किया गया हैं | जो इस प्रकार है – अपराध करने के आशय से विष इत्यादि द्वारा किसी व्यक्ति को नुकसान पहुँचाना”, अपराध है | इसके लिए उस व्यक्ति को जिसके द्वारा ऐसा किया गया है उसको 10 वर्ष का कारावास साथ में आर्थिक दंड से दण्डित किया जायेगा| यह एक गैर-जमानती, संज्ञेय अपराध है और सत्र न्यायालय {सेशन कोर्ट} द्वारा विचारणीय है।
आईपीसी (IPC) की धारा 328 में जमानत (BAIL) का प्रावधान
भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 328 में जिस अपराध की सजा के बारे में बताया गया है उस अपराध को एक गैर-जमानती और संज्ञेय अपराध बताया गया है | यहाँ आपको मालूम होना चाहिए कि संज्ञेय अपराध और गैर- जमानतीय होने पर इसमें जमानत मिलने में मुश्किल आती है क्योंकी यह गैर-जमानतीय और संज्ञेय अपराध है । यह अपराध समझौता करने योग्य नहीं है।
मित्रों उपरोक्त वर्णन से आपको आज भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 328 के बारे में इस आर्टिक्ल के माध्यम से पूरी जानकारी हो गई होगी इसमें क्या अपराध बनता है कैसे इस धारा को लागू किया जायेगा | इस अपराध को कारित करने पर क्या सजा होगी ? इन सब के बारे में विस्तार से हमने उल्लेख किया है, साथ ही इसमें जमानत के क्या प्रावधान होंगे ? इसकी जानकारी भी दी है | यदि फिर भी इस धारा से सम्बन्धित या अन्य धाराओं से सम्बंधित किसी भी प्रकार की कुछ भी शंका आपके मन में हो या अन्य कोई जानकारी प्राप्त करना चाहते है, तो आप हमें कमेंट बॉक्स के माध्यम से अपने प्रश्न और सुझाव हमें भेज सकते है |
अपराध | सजा | संज्ञेय | जमानत | विचारणीय |
अपराध करने के आशय से विष इत्यादि द्वारा किसी व्यक्ति को नुकसान पहुँचाना | 10 वर्ष का कारावास साथ में आर्थिक दंड भी दिया जायेगा | संज्ञेय | गैर जमानतीय | सत्र न्यायालय {सेशन कोर्ट} द्वारा विचारणीय (ट्रायल किया जायेगा) |